Wednesday, June 13, 2012

औरंजेब के क्रूरता ने हिन्दुओ पे सितम ढाये थे जनेऊ तुड्वाकर तिलक मिटाकर जप तप बंद कराये थे जब चलते यज्ञों की बेदी पर गोमांसबिखेरा जाता था ऋषियों के उर मे डाल तलवारे ,हाड़ उखेरा जाता था ये थी हिंसा की चरम सीमाए ,क्या इन्हे मिटाने आए हो ? तुम लेकर अहिंसा का झण्डा , मेरा खून जलाने आए हो बाबर की अतिबर्बर बर्बरता ने, लाशों के ढेर बिछाये थे मेरे मोहन ओ श्याम के मंदिर पर खून के धब्बे लगाए थे तोड़ मेरे प्रभु राम का मंदिर,बाबरी के पाप सजाये थे लाल रक्त के अमिट धब्बो को कीचड़ से मिटाने आए हो तुम लेकर अहिंसा का झण्डा , मेरा खून जलाने आए हो तथाकथित आजादी का वो पहला सूरज निकला था ....... हु अकबर अकबर चिल्लाता दानवो का एक काफिला था बाजारो मे हिन्दू देवीया नंगी दौड़ाई जाती थी वो अबला ,मासूम व्यथित हो राम राम चिल्लाती थी उन्हे देख अहिंसा रोयी थी ,हिंसा ने भी आँसू बहाये थे इतने पर भी उन असुरो ने गुप्तांगों मे भाले घुसाए थे वो चीख रही थी , तड़प रही थी ,बिलख रही थी एक ओर एक ओर पिब रहा दूध बकरी का , था चरखो का हल्का शोर झटपटा रही थी, पड़ी धरा पर ,थे ऊपर पर हवसी सवार एक ओर गीत गा गाकर के बांट रहा था दुश्मन को प्यार उनके करुण रुन्दन के गुंजन की आवाज दबाने आए हो तुम लेकर अहिंसा का झण्डा , मेरा खून जलाने आए हो मेरे हजारो मंदिर टूटे है, लुटा है लाखो माँ बहनो का शील करोड़ो भाइयो की रक्त धारा से बनीहै नफरत की ये झील मेरे गोमाता काट काट प्लेटो मे सजाई जाती है खोलते पानी मे डाल बछड़ो को खाल उतारी जाती है वो प्रभु राम को गाली देत है,घनश्याम को गाली देते हे तुम बनके अहिंसा के उपासक इन पापोको छिपाने आए हो तुम लेके अहिंसा का झण्डा , बस खूनजलाने आए हो तुम भूल सको तो भूल जाओ , उन बिखरी लाशों के ढेरो को लूटे माताओ के शीलों को , दिये जख्मो के घेरो को हा भूल जाओ तुम टूटे मंदिरो की उन आह भरती नीवों को तुम भूल ही जाओ तो अच्छा ,गोमाता की अव्यक्तित चीखो को तुम जब महान गोडसे को इस मुख से हत्यारा बताते हो - तब ऊपर लिखे इन जुल्मो को क्यो कैसे भूल जाते हो ? राम बोलने वाले गोपुजकों को तुम साम्र्प्दयिक बताते हो बारूद बिछाने वालो को भाई कह अहिंसा का ढोंग दिखाते हो तुम झूठी अहिंसा के खून से धर्म पर कलंक लगाने आए हो तुम लेकर अहिंसा का झण्डा मेरा खून जलाने आए हो......jai Mahakal!!!

बीजेपी के राष्ट्रीय कार्यकारणी के सदस्य और जाने माने वकील कश्मीरी पंडित तिलक लाल तप्लू का JKLF ने क़त्ल कर दिया। उसके बाद जस्टिस नील कान्त गंजू को गोली मार दिया गया। सारे कश्मीरी नेताओ की हत्या एक एक करके कर दी गयी। उसके बाद 300 से ज्यादा हिन्दू महिलाओ और पुरुषो की निर्संश हत्या की गयी। कश्मीरी पंडित नर्स जो श्रीनगर के सौर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में काम करती थी, का सामूहिक बलात्कार किया गया और मार मार कर उसकी हत्या कर दी गयी। यह खुनी खेल चलता रहा और अपने सेकुलर राज्य औरकेंद्र सरकार, मीडिया ने कुछ भी नहीं किया। पार्ट ४: जनवरी 4, 1990 ~~~~~~~~~~~~~~ आफताब, एक स्थानीय उर्दू अखबार नेहिज्ब -उल -मुजाहिदीन की तरफ से एकप्रेस विज्ञप्ति जारी की, सभी हिन्दू अपना सामन पैक करें और कश्मीर छोड़ कर चले जाएँ। एक अन्यस्थानीय समाचार पत्र, अल सफा ने इस निष्कासन आदेश को दोहराया। मस्जिदों में भारत और हिन्दू विरोधी भाषण दिए जाने लगे। सभी कश्मीरी हिन्दू/ मुस्लिमो को कहा गया की इस्लामिक ड्रेस कोड अपनाये। सिनेमा और विडियो पार्लरवगैरह बंद कर दिए गए। लोगो को मजबूर किया गया की वो अपनी घड़ी पाकिस्तान के समय के अनुसार करे लें। अधिक जानकारी के लिए यह लिंक और ब्लॉग आप देख सकते है: http:// kasmiripandits.b logspot.com/ 2012/04/ when-kashmiri-pa ndits-fled-isla mic.html http:// www.rediff.com/ news/2005/jan/ 19kanch.htm - [19/01/90: When Kashmiri Pandits fled Islamic terror] पार्ट 5: जनवरी 19, 1990 ~~~~~~~~~~~~~~~ ~~~~~~~ सारे कश्मीरी पंडितो के घर के दरवाजो पर नोट लगा दिया जिसमे लिखा था "या तो मुस्लिम बन जाओ या कश्मीर छोड़ कर भाग जाओ या फिर मरने के लिए तैयार हो जाओ"। पाकिस्तान की तत्कालीन प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो ने टीवी पर कश्मीरी मुस्लिमो को भारत से आजादी के लिए भड़काना शुरू कर दिया। सारे कश्मीर के मस्जिदों में एक टेप चलाया गया। जिसमे मुस्लिमो को कहा गया की वो हिन्दुओ को कश्मीर से निकाल बाहर करें। उसके बाद सारे कश्मीरी मुस्लिम सडको पर उतर आये। उन्होंने कश्मीरी पंडितो के घरो को जला दिया, कश्मीर पंडित महिलाओका बलात्कार करके, फिर उनकी हत्याकरके उनके नग्न शरीर को पेड़ पर लटका दिया गया। कुछ महिलाओ को जिन्दा जला दिया गया और बाकियों को लोहे के गरम सलाखों से मार दिया गया। बच्चो को स्टील के तार से गला घोटकर मार दिया गया। कश्मीरी महिलाये ऊंचे मकानों की छतो से कूद कूद कर जान देने लगी। कश्मीरी मुस्लिम, कश्मीरी हिन्दुओ के हत्या करते चले गए और नारा लगते चले गए की उन पर अत्याचार हुआ है और उनको भारत से आजादी चाहिए। पार्ट 6: कश्मीरी पंडितो का पलायन ~~~~~~~~~~~~~~~ ~~~~~~~ 3,50,000 कश्मीरी पंडित अपनी जान बचा कर कश्मीर से भाग गए। कश्मीरीपंडित जो कश्मीर के मूल निवासी हैउन्हें कश्मीर छोड़ना पड़ा और तब कश्मीरी मुस्लिम कहते है की उन्हें आजादी चाहिए। यह सब कुछ चलता रहा

Saturday, June 2, 2012

क्या आप जानते हैं कि.... शिया और सुन्नी मुसलमान कौन होते हैं....?????

दरअसल... जब इस्लाम का प्रादुर्भाव हुआ... उस समय दुनिया में अन्य सभी धर्म ... (जैसे कि हिन्दू धर्म, बौद्ध धर्म, ईसाई एवं यहूदी ) पूर्णतः स्थापित हो चुके थे..... जिस कारण इस्लाम के प्रतिपादक मुहम्मद साहब को इस्लाम जैसे फर्जी धर्म को बढ़ाना एक टेढ़ी खीर लगा....!

इसीलिए, मुहम्मद साहब ने अपने पेशे के अनुरूप एक फरमान जारी कर दिया कि... .......... जो कोई भी इस्लाम स्वीकार नहीं करेगा..... उसे मार दिया जाएगा और उनके घर की महिलाओं से बलात्कार कर..... उसकी सारी धन-दौलत लूट ली जाएगी..... लेकिन अगर ... जो कोई भी इस्लाम स्वेच्छा से स्वीकार कर लेगा उसे ढेर सारी धन-दौलत के साथ-साथ गिरोह में भी अच्छा पद भी दे दिया जाएगा..!

मुहम्मद साहब के इस फरमान को सुनते ही आस-पास के सारे कबीलों में हडकंप मच गया....... क्योंकि लोगों को मुहम्मद साहब और उनके गिरोह के बारे में भली-भांति मालूम था कि.... वे निश्चय ही वैसा कर सकते हैं...!

इस तरह.... जिन हिन्दुओं और ईसाईयों को मुहम्मद साहब के इस फरमान को सुनकर डर से ही पैंट में पेशाब हो गया.... और, उन्होंने अपनी तथा अपने परिवार की जान बचाने और धन-सम्पदा के लालच के लिए.... सिर्फ फरमान सुनकर ही मुसलमान बन गए.. वे सुन्नी (सुनकर बना हुआ मुस्लिम) मुसलमान कहलाये...!

परन्तु..... कुछ लोग फरमान सुनकर मुसलमान तो नहीं बने.... लेकिन, सियार की तरह डर कर इधर-उधर छुप गए... और, बाद में लालच में आकर इस्लाम कबूल लिया.... जिसे शिया (सियार की तरह बने मुस्लिम) मुसलमान कहा जाता है..!

इस तरह इस्लाम में प्रारंभ से ही दो धडें मौजूद थी.... लेकिन मुहम्मद साहब का आतंक इतना था कि... लोग खुल कर कुछ नहीं बोल पाते थे....!

परन्तु... पिगम्बर मुहम्मद साहब की मृत्यु (लगभग CE 632 ) के बाद इन दोनों धडों का मतभेद खुल कर सामने आ गया... जब 8 जून 632 ... को मदीना में इस्लाम के उत्तराधिकारी खलीफा का चुनाव हो रहा था..!

चूँकि.. सुन्नी मुसलमान पहले से मुहम्मद साहब या यूँ कहें की इस्लाम से जुड़े थे .. इसीलिए उन्होंने स्वभावतः मुहम्मद साहब के उत्तराधिकारी के तौर पर मुहम्मद साहब के सबसे करीबी अबू बकर को खलीफा स्वीकार किया .

जबकि.... शिया मुसलमानों ने अबुबकर को खलीफा मानने से इंकार कर दिया और उन्होंने अली इब्न अबी तालिब ( जो कि मुहम्मद साहब का चचेरा भाई और साथ में दामाद भी था {उन्होंने अपनी भतीजी से शादी की थी} [चकराएं नहीं.... अली साहब ने तो भतीजी तक भी सोचा... लेकिन, मुहम्मद साहब ने तो मौका पाकर अपनी सगी बेटी फातिमा पर ही हाथ साफ कर लिया था ])

इस तरह ... मुहम्मद साहब की मृत्यु के बाद मुस्लिम खुले रूप से ""शिया और सुन्नी"" नामक दो धड़े में बँट गए...और उनमे वर्चस्व की लड़ाई प्रारंभ हो गयी..!

आज दुनिया में लगभग 90% आबादी सुन्नी मुस्लिमों की है...!

जय महाकाल...!!!

disclaimer : ये लेख विशुद्ध रूप से वैज्ञानिक तथ्यों पर आधारित है... इसीलिए, कृपया बिना परफेक्ट सबूत के कोई भी सज्जन अथवा दुर्जन अपना भोंपू ना बजाएँ...!

" सेकुलर " एक शब्द जो भारत में अब धर्म बन गया है आज सेकुलरता का अर्थ हिन्दुओं को गाली देना , हिन्दू देवी देवताओं को भला बुरा कहना और अपने इसाई या मुस्लिम तथाकथित मित्र को खुश करने के लिए चर्च और मस्जिद में जाना है | स्मरण रहे ,यदि तुम पाश्चात्य भोतिकतावाद संस्कृति के चक्कर में पद कर आध्यात्मिकता का आधार त्याग दोगे तो उसका परिणाम होगा की तीन पीढ़ियों में तुम्हारा जातीय अस्तित्व मिट जाएगा क्योकि राष्ट्र का मेरुदंड टूट जाएगा , राष्ट्रीय भवन की नीव ही खिसक जायेगी | इस सबका परिणाम होगा सर्वतोमुखी सत्यानाश | _____________________ स्वामी विवेकानंद मुहम्मद अली जिन्ना से एक बार किसी ने पूछा पकिस्तान का पहला बीज कब बोया गया ? तब जिन्ना ने उत्तर दिया :- जब हिन्दुस्तान के पहले हिन्दू को मुसलमान बनाया गया था || हमीद दलवाई ने अपनी पुस्तक MUSLIM POLITICS IN SECULAR INDIA में लिखा है -- मुसलमान , जो उन पर अत्याचार हो रहा है ऐसा नारा लगते है उनमे से बहुतों से मिला की आप पर कौन सा अत्याचार होता है ? चूँकि हामिद दलवाई मुसलमान था अतः स्पष्ट रूप से बताया की हिन्दुओं का बहुसंख्यक होना ही मुसलमानों पर , इस्लाम पर सबसे बड़ा अत्याचार है जिसके कारण देश का एक बड़ा हिस्सा मुस्लिम राष्ट्र नहीं बन सका | जब तक हिन्दू समाज बहुसंख्यक रहेगा तब तक हम इस देश को मुस्लिम राष्ट्र नहीं बना सकते यही हम पर इस्लाम पर सबसे बड़ा अत्याचार है || _______________ हमीद दलवाई , MUSLIM POLITICS IN SECULAR INDIA जागो नहीं तो हमेशा के लिए सोना पड़ जाएगा , इस सेकुलरता का परिणाम कितना घातक हो सकता है इसका अंदाज़ा लगाना मुश्किल नहीं है क्योकि परिणाम सबके सामने है || जय जय सियाराम ,, जय जय माँ भारती

क्या आप जानते है

1 जून 2012 को हटाए गए

  • ... कि मॉनमाउथ शहर इंग्लैण्ड के हेनरी पंचम का जन्मस्थान था।

[संपादित करें] 23 अप्रैल 2012 को हटाए गए

[संपादित करें] 10 अप्रैल 2012 को हटाए गए

  • ... कि अमेरिकी इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियर क्लॉड शैनन (चित्रित) को "सूचना सिद्धांत का पिता" माना जाता है।

[संपादित करें] 21 मार्च 2012 को हटाए गए

[संपादित करें] 10 मार्च 2012 को हटाए गए


[संपादित करें] 2 मार्च 2012 को हटाये गए

[संपादित करें] 2 फरवरी 2012 को हटाये गए

Adammalik2.jpg

[संपादित करें] 21 दिसम्बर को हटाये गए

नोवा का निर्माण

[संपादित करें] 7 सितंबर को हटाये गए

[संपादित करें] 27 अगस्त को हटाये गए

सुश्रुत की मूर्ति, हरिद्वार

[संपादित करें] १५ दिसंबर को लगाये गए

रामानुज द्वारा बनाया चित्र
चित्र को उलटा करने पर

[संपादित करें] १ मई २०१० को लगाये गए

Castor beans.jpg

[संपादित करें] १ अप्रैल २०१० को लगाए गए

फोर स्ट्रोक इंजन

[संपादित करें] १ अप्रैल २०१० को हटाये गए

हुमायुं का मकबरा, दिल्ली

[संपादित करें] १ नवंबर २००९

मदुरई का मीनाक्षी सुंदरेश्वरर मंदिर

[संपादित करें] १ सितंबर

[संपादित करें] १ जून २००९

को प्रदर्शित तथ्य
वृहत मीटरवेव रेडियो टेलिस्कोप
  • वृहत मीटरवेव रेडियो टेलिस्कोप भारत के पुणे शहर से 80 किलोमीटर उत्तर में खोडाड नामक स्थान पर स्थित रेडियो दूरबीनों की विश्व की सबसे विशाल सारणी है।
  • बुद्ध की मूर्तियाँ सर्वप्रथम गांधार कला नामक प्रसिद्ध प्राचीन भारतीय कला में बनायी गयीं।
  • लोकसभा चुनाव २००९ में मिली जीत के बाद मनमोहन सिंह, जवाहरलाल नेहरू के बाद भारत के पहले ऐसे प्रधानमंत्री बन गए हैं जिनको पाँच वर्षों का कार्यकाल सफलता पूर्वक पूरा करने के बाद लगातार दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने का मौका मिला है।
  • भारतीय गणितज्ञ ब्रह्मगुप्त (५९८-६६८) तत्कालीन गुर्जर प्रदेश (भीनमाल) के अन्तर्गत आने वाले प्रख्यात शहर उज्जैन (वर्तमान मध्य प्रदेश) की अन्तरिक्ष प्रयोगशाला के प्रमुख थे और इस दौरान उन्होने दो विशेष ग्रन्थ लिखे: ब्रह्मस्फुटसिद्धान्त (सन ६२८ में) और खन्डखड्यक (सन् ६६५ ई में)।

भारत रत्न
१ मई २००९ को प्रदर्शित तथ्य
  • १८ किलोमीटर क्षेत्र में फैली और तीन दिशाओं से पहाड़ियों से घिरी डल झील, जम्मू-कश्मीर की दूसरी सबसे बड़ी झील है। इसमें सोतों से तो जल आता है साथ ही कश्मीर घाटी की अनेक झीलें आकर इसमें जुड़ती हैं।
  • स्वस्तिक शब्द सु+अस+क से बना है। 'सु' का अर्थ अच्छा, 'अस' का अर्थ 'सत्ता' या 'अस्तित्व' और 'क' का अर्थ 'कर्त्ता' या करने वाले से है। इस प्रकार 'स्वस्तिक' शब्द का अर्थ हुआ 'अच्छा' या 'मंगल' करने वाला।
  • भारत के कर्नाटक राज्य में, तुंगभद्रा नदी के तट पर स्थित हम्पी, जो मध्यकालीन हिंदू राज्य विजयनगर साम्राज्य की राजधानी था अब केवल खंडहरों का अवशेष मात्र ही है।
  • शंकर्स वीकली भारत में प्रकाशित पहली कार्टून पत्रिका थी। १९४८ में प्रारंभ हुई इस पत्रिका की आवृत्ति साप्ताहिक थी और इसका प्रकशन भारत में कार्टून कला के पितामह कहे जाने वाले कार्टूनिस्ट के शंकर पिल्लई करते थे।
  • भारतीय गणितज्ञ ब्रह्मगुप्त (५९८-६६८) तत्कालीन गुर्जर प्रदेश (भीनमाल) के अन्तर्गत आने वाले प्रख्यात शहर उज्जैन (वर्तमान मध्य प्रदेश) की अन्तरिक्ष प्रयोगशाला के प्रमुख थे और इस दौरान उन्होने दो विशेष ग्रन्थ लिखे: ब्रह्मस्फुटसिद्धान्त (सन ६२८ में) और खन्डखड्यक (सन् ६६५ ई में)।

भारत रत्न
१ अप्रैल २००९ को प्रदर्शित तथ्य
  • भारत रत्न में तांबे के बने पीपल के पत्ते पर प्लेटिनम का चमकता सूर्य बना है, जिसके नीचे चाँदी में लिखा रहता है "भारत रत्न", और यह सफ़ेद फीते से गले पर पहना जाता है।
  • माउंट एवरेस्ट विश्व का सर्वोच्च पर्वत शिखर है, जिसकी ऊंचाई ८८४८ मी. है। इसे सागरमाथादेवगिरी भी कहते हैं।
  • कावेरी नदी कुर्ग के ब्रह्मगिरि पर्वत से निकलती है, और दक्षिण की गंगा के नाम से जानी जाती है।
  • उच्च घनत्व के कारण मृत सागर में तैराकों का डूबना असंभव है इसी कारण इसमें कोई मछली जीवित नहीं रह सकती।
  • दीपक पंचतत्वों में से एक अग्नि का प्रतीक माना जाता है।

१ मार्च २००९ को २००९ को प्रदर्शित तथ्य
  • संगीत में एक विशेष राग वसंत ऋतु के नाम पर बनाया गया है जिसे राग बसंत कहते हैं।
  • गुलाब की १०० से अधिक प्रजातियाँ हैं जिनमें से अधिकांश एशियाई मूल की हैं।
  • कार्बन के रासायनिक यौगिकों को कार्बनिक यौगिक कहते हैं। प्रकृति में इनकी संख्या १० लाख से भी अधिक है।
  • बाँस तेज़ी से बढ़ता है और इसकी कुछ प्रजातियों की बढ़वार साल के कुछ दिनों में १ मीटर प्रति घंटा तक पहुँच जाती है।
  • मेरी क्युरी विज्ञान की दो शाखाओं में नोबेल पुरस्कार से सम्मानित होने वाली पहली वैज्ञानिक हैं।

१ फरवरी २००९ को प्रदर्शित तथ्य
  • महात्मा गांधी सेतु पटना से हाजीपुर को जोड़ने को लिये गंगा नदी पर उत्तर-दक्षिण की दिशा में बना एक पुल है। यह दुनिया का सबसे लम्बा एक ही नदी पर बना सड़क पुल है।
  • मुगल बादशाह अकबर ने अपने शासन काल में कई पुस्तकालय बनाये। उसके पास २४००० पुस्तकें एवं पांडुलिपियों का भंडार था जबकि वह स्वंय अनपढ़ था।
  • मानव शरीर में जितनी मानव कोशिकाएँ है, उसके लगभग १० गुना अधिक जीवाणु कोष है।
  • आयु के साथ व्यक्ति के डी एन ए में कोई बदलाव नहीं आता है। अतः जन्म से मृत्यु पर्यंत डी एन ए एक सा ही रहता है।
  • कार्बन के रासायनिक यौगिकों को कार्बनिक यौगिक कहते हैं। प्रकृति में इनकी संख्या १० लाख से भी अधिक है।

सिडनी में नए साल का उत्सव
१ जनवरी २००९ को प्रदर्शित तथ्य
जीवाणु
१ दिसंबर २००८ को प्रदर्शित तथ्य

मंदिर जगन्नाथपुरी
१ नवंबर २००८ को प्रदर्शित तथ्य
  • ...कि भारत का सबसे बड़ा रसोईघर पुरी के प्रसिद्ध जगन्नाथ मंदिर का है। यहाँ भगवान जगन्नाथ को महाप्रसाद जिसे अब्धा कहा जाता है, चढ़ाने के लिए लगभग ५०० रसोइये लगे हैं। छप्पन प्रकार के भोग तैयार करने के लिए ३०० सहयोगी इन रसोईयों की सहायता करते हैं।
  • ...कि मध्य प्रदेश के साँवेर नामक स्थान पर स्थित भगवान हनुमान का एक विशेष मंदिर उलटे हनुमान के नाम से मालवा क्षेत्र में प्रसिद्ध है। इस मंदिर की विशेषता यह है कि इसमें हनुमानजी की उलटी मूर्ति स्थापित है।
  • ...कि मानव की कोशिका के डी एन ए की कुल लंबाई लगभग छः फीट होती है।
  • ...कि राष्ट्रपति भवन की गुलाब वाटिका, जो मुगल उद्यान का एक अंश है, में २५० से अधिक किस्मों के गुलाब हैं, यह जन साधारण के लिए प्रति वर्ष फरवरी माह में खुलती है।
  • ...कि मेडागास्कर से गुलमोहर का विकास पूरे विश्व में हुआ पर अब वहाँ यह लुप्त होने की दशा में है। इसलिए इसकी मूल प्रजाति को संरक्षित वृक्षों की सूची में शामिल कर लिया गया है।


रेफ्लीसिया
१ अक्तूबर २००८ को प्रदर्शित तथ्य
  • ...कि रेफ्लीसिया एक बहुत ही आश्चर्यजनक पौधा है, इसका फूल वनस्पति जगत के सभी पौंधों के फूलों से बड़ा है जिसका वजन ७ किलोग्राम तक हो सकता है।
  • ...कि मॉरीशस द्वीप विलुप्त हो चुके डोडो पक्षी के अंतिम और एकमात्र घर के रूप में भी विख्यात है।
  • ...कि सदाफूली या सदाबहार नामक फूल के गुणों से प्रभावित होकर नेशनल गार्डेन ब्यूरो ने सन २००२ को सदाबहार वर्ष या इयर आफ़ विंका घोषित किया था।
  • ...कि मुगल उद्यान, दिल्ली में अकेले गुलाब की ही २५० से अधिक प्रजातियाँ हैं।
  • ... कि कुम्हड़े नामक सब्जी की सबसे बड़ी प्रजाति मैक्सिमा का वजन ३४ किलोग्राम सो भी अधिक होता है

राष्ट्रपति भवन
१ सितंबर २००८ को प्रदर्शित तथ्य
  • ...कि भारत का राष्ट्रपति भवन, विश्व के किसी भी राष्ट्रपति आवास से अधिक बड़ा है।
  • ...कि मुंबई के मुख्य रेलवे स्टेशन छत्रपति शिवाजी टर्मिनस का पुराना नाम विक्टोरिया टर्मिनस था। आज भी इसे बोलचाल की भाषा में अक्सर "वीटी" कहते हैं।
  • ...कि जीवाणु एक एककोशिकीय जीव है । इसका आकार कुछ मिलिमीटर तक ही होता है ।
  • ...कि गुड़हल की दो सौ से अधिक प्रजातियाँ होती है और इसका उपयोग केश-तेल से लेकर चाय तक अनेकों वस्तुओं में होता है।
  • ...कि १९७९ में हुई ईरान की इस्लामिक क्रांति, जिसके बाद ईरान को इस्लामिक गणराज्य घोषित कर दिया गया था, को फ्रांस की राज्यक्रांति और बोल्शेविक क्रांति के बाद विश्व की सबसे महान क्रांति कहा जाता है।

चकराता
१ अगस्त २००८ को प्रदर्शित तथ्य

१ जुलाई २००८ को प्रदर्शित तथ्य
रंगोली
  • ...कि महाराष्ट्र के नागपुर की रहने वाली वंदना जोशी को रंगोली बनाने में महारत हासिल है। वह पानी के ऊपर रंगोली बनाने वाली विश्व की पहली महिला हैं और वह दुनिया की सबसे बड़ी रंगोली बनाकर गिनीज बुक आफ व‌र्ल्ड रिकार्ड में भी अपना नाम दर्ज करा चुकी हैं।
  • ...कि कथाकार प्रेमचंद ने एक फिल्म की कहानी भी लिखी थी। यह फिल्म १९३४ में मजदूर नाम से बनी थी।
  • ...कि हिन्दू मापन प्रणाली में श्रीमद्भग्वदगीता के अनुसार "सहस्र-युग अहर-यद ब्रह्मणो विदुः", अर्थात ब्रह्मा का एक दिवस = 1000 महायुग = 4 अरब 32 खरब सौर वर्ष,का होता है।
  • ...कि होली केवल एक पर्व ही नहीं संगीत की एक विधा भी है। लोक संगीत के साथ साथ होली को शास्त्रीय या उप-शास्त्रीय संगीत में ध्रुपद, धमार, ठुमरी या चैती के रूप में भी गाया जाता है।
  • ...कि मूल रूप से मध्य एशिया का निवासी ज़हीर उद-दिन मुहम्मद (१४ फरवरी १४८३ - २६ दिसम्बर १५३०) जो बाबर के नाम से प्रसिद्ध हुआ, एक मुगल शासक था, जिसने भारत में मुगल वंश की स्थापना की। वह तैमूर लंग का परपोता था और स्वयं को चंगेज खां का वंशज मानता था । --अमित प्रभाकर ११:३५, १९ मार्च २००७ (UTC)
  • ...कि क्रांतिकारी यतीन्द्रनाथ मुखर्जी का नाम बाघा यतीन इसलिए पड़ा कि जंगल में शेर द्वारा आक्रमण कर देने पर उन्होंने वीरता से लड़ते हुए उसे हरा दिया था।

१ जून २००८ को प्रदर्शित तथ्य
एनोफ़ेलेज़ मच्छर जिससे मलेरिया फैलता है।
  • ...कि मलेरिया एक प्रोटोजोआ जनित रोग है मानव इतिहास में इसे सबसे बडा हत्यारा माना जाता है आज भी यह लाखों मौतों का कारण बनता है।
  • ...कि सावित्री बाई खानोलकर, जिन्हें सर्वोच्च भारतीय सैनिक अलंकरण परमवीर चक्र के रूपांकन का गौरव प्राप्त है, मूल रूप से एक विदेशी महिला थीं।
  • ...कि जांजगीर के विष्णु मंदिऱ भारत का एकमात्र ऐसा मंदिर है जिसका गर्भगृह खाली है वहाँ कोई प्रतिमा नहीं है।
  • ...कि इन्दिरा गाँधी अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर स्थित हज टर्मिनल मुख्य रूप से मुसलमानों के वार्षिक हज यात्रा के दौरान होने वाली भारी आवाजाही को देखते हुए बनाया गया था जिसमें भारतीय मुसलमान मध्यपूर्व की (खासकर सऊदी अरब में स्थित मक्का और मदीने की) यात्रा करते हैं।
  • ...कि रायपुर स्थित नगरघड़ी में हर घंटे बजने वाले गजर के लिए छत्तीसगढ़ की 24 लोकधुनों को संयोजित कर राज्य की लोक संस्कृति को अभिव्यक्त करने का अनूठा प्रयास किया गया है।
  • ...कि फ़िल्म निर्माता केतन मेहता राजा रवि वर्मा के जीवन पर रंग रसिया नाम से एक फिल्म बनाने जा रहे हैं जिसमें राजा रवि वर्मा की भूमिका निभाएंगे अभिनेता रणदीप हुड्डा। फिल्म में अभिनेत्री होंगी नंदना सेन।

Charles II of England.jpeg
  • ...कि पहले याहू.कॉम का नाम "जेरीज गॉइड टू वर्ल्ड वाइड वेब" (Jerry's Guide to the World Wide Web) था अप्रैल १९९४ में इसका नाम याहू कर दिया गया
  • ...कि 2008 में अमरीका के राष्ट्रपति पद के लिए डेमोक्रैटिक पार्टी के अग्रणी उम्मीदवार बराक ओबामा ने दो लोकप्रिय पुस्तकें भी लिखी हैं।
  • ...कि महाभारत विश्व का सबसे लंबा साहित्यिक ग्रंथ है।
  • ...कि रावलपिंडी का लियाक़त बाग़ जहाँ बेनजीर भुट्टो की हत्या की गई वहाँ पर इसके पहले पाकिस्तान के पहले प्रधानमंत्री लियाक़त अली ख़ान की भी इसी तरह एक चुनावी रैली में हत्या कर दी गई थी । उसके बाद बेनजीर के पिता ज़ुल्फ़िकार अली भुट्टो को फांसी भी यहीं दी गई थी ।
  • ...कि प्रेमचंद ने अपने लेखन का प्रारंभ उर्दू में नवाबराय नाम से किया,पर बाद में अधिक पाठकों तक पहुंचने के लिये वे हिन्दी में प्रेमचंद नाम से लिखने लगे।
  • ...कि विश्व में पहली बार 1 जनवरी को नए साल ईसा पूर्व ४५वें साल में बनाया गया। जब रोम के तानाशाह जूलियस सीज़र ने जूलियन कैलेंडर की स्थापना की।
  • ...कि मुद्रा स्फीति एक गणितीय युक्ति (तरकीब) है जिससे बाज़ार में मुद्रा का फैलाव व चीजों की कीमतों में वृद्धि को नापा जाता है।
  • ...कि ऑक्सफ़र्ड विश्वविद्यालय ने सत्यजित राय को सम्मानदायक डॉक्टरेट की उपाधियाँ प्रदान की थी। चार्ली चैपलिन के बाद वे इस सम्मान को पाने वाले पहले फ़िल्म निर्देशक थे।
Wings of Fire.jpg
अज्ञात तिथि
  • कि काली-गर्दन वाली स्टिल्ट (Black-necked stilt, तसवीर देखें) पक्षी को देखकर ऐसा लगता है कि उसने काला कोट-पैंट पहना हुआ हो, और उसके चूज़े अंडे से निकलने के दो घंटे बाद ही तैर सकते हैं ?
Bnstiltsolorazorback.jpg
  • कि कोलकाता का राजभवन, जो ब्रिटिश राज के समय गवर्नर-जनरल का मुख्यालय था, डर्बीशायर (ब्रिटेन) के केड्लेस्टन हॉल की तर्ज़ पर बना था ?
  • कि 21 जनवरी 2006 को इलाम हलीमी, एक फ़्रांसिसी यहूदी, को एक मुसल्मान युवकों के गिरोह ने अगुआ कर लिया और बाद में तड़पाकर मार डाला, शायद पैसों या यहूदी-विरोध की वजह से ?
  • कि बिसान्तियम के सम्राट अपने जीवन का आख़िरी समय कुन्स्तान्तिनिया के सबसे बड़े आश्रम में सन्यासी बनकर गुज़ारते थे ?